नई दिल्ली : केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने बुधवार को कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर हमला किया और कहा कि वह झूठ पर आधारित फर्जी तथ्य बांट रहे हैं और फ्रांस के साथ 36 लड़ाकू विमान सौदे पर गलत तथ्य प्रस्तुत कर रहे हैं।
प्रसाद की टिप्पणी ऐसे समय में आई है, जब सरकार ने बुधवार को नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक (सीएजी) की रपट संसद में पेश की, जिसमें कहा गया है कि यह सौदा संप्रग द्वारा तय किए गए 126 विमानों के सौदे से 2.86 प्रतिशत सस्ता है। इसके साथ ही रपट में कहा गया है कि मौजूदा कैपिटल एक्वि जिसन सिस्टम वायुसेना को प्रभावी तरीके से समर्थन नहीं देता।
प्रसाद ने भाजपा मुख्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा, राहुल गांधी का झूठ आज बेनकाब हो गया है। राहुल गांधी देश में अत्यंत शर्मनाक तरीके से झूठ पर आधारित फर्जी तथ्य बांट रहे हैं, और गलतबयानी कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि झूठ की उम्र अधिक नहीं होती। प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी), वित्तमंत्री (अरुण जेटली), और रक्षामंत्री (निर्मला सीतारमण) और सभी ने संसद में इस मुद्दे पर चर्चा की। एक-दो निहित स्वार्थी लोगों को छोड़कर बाकी सभी ने कहा कि राफेल सौदा आवश्यक था।
उन्होंने कहा कि सेवारत भारतीय वायुसेना के अधिकारियों ने भी कहा कि राष्ट्र की सुरक्षा के लिए राफेल सौदा आवश्यक था।
प्रसाद ने कहा, लेकिन राहुल गांधी ने संसद में गंभीर मुद्दों पर कभी चर्चा नहीं की, क्योंकि जो कुछ भी कहा जाता है वह दर्ज हो जाता है। वह बाहर झूठ बोलते हैं।
राफेल सौदे पर सीएजी रपट और सर्वोच्च न्यायालय के फैसले का जिक्र करते हुए प्रसाद ने कहा, दोनों संवैधानिक संस्थाओं ने भी कहा है कि खरीदी प्रक्रिया स्वच्छ है और देश की सुरक्षा के लिए यह आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ने 14 दिसंबर, 2018 को कहा था कि उसने वायुसेना के वरिष्ठ अधिकारियों से बातचीत की, जिन्होंने अदालत को बताया कि भारत के दुश्मनों ने पांचवी पीढ़ी के स्टेल्थ लड़ाकू विमान हासिल कर लिए हैं और भारत के पास उस तरह का कोई विमान नहीं है।
प्रसाद ने कहा, सीएजी रपट में कहती है कि पिछले 15 सालों से कोई काम नहीं किया गया। खरीदी प्रक्रिया 2000 में शुरू की गई थी। प्रस्ताव के लिए एक अनुरोध 2007 में किया गया था और निविदा नवंबर 2011 में खोली गई।
कांग्रेस नेतृत्व वाली तत्कालीन संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार पर हमला बोलते हुए भाजपा नेता ने कहा, 15 सालों में आप कोई काम नहीं कर सके। और उसके बाद सौदे में फिर विलंब हुआ।
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