मुंबई :कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी द्वारा रिलायंस समूह के अध्यक्ष अनिल डी. अंबानी के खिलाफ हाल के दिनों में दिए गए बयानों पर पलटवार करते हुए समूह ने उनकी कड़ी निंदा की है।
रिलायंस समूह ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के बयान को झूठा, गुमराह करने वाला, तथ्यों को तोड़-मरोड़ कर पेश किया जाने वाला और द्वेषपूर्ण बताया है।
समूह ने एक बयान में कहा है कि गांधी द्वारा अनिल अंबानी पर घोर पूंजीवादी और बेईमान कारोबारी का आरोप लगाया जाना सरासर गलत है।
बयान में कहा गया है कि राहुल गांधी के सार्वजनिक बयान में यह प्रचलित हो गया है और उनके इन दावों के लिए उनके पास कोई आधार नहीं है और न ही उन्होंने इस अपमानजनक व मानहानिपरक अभियान को सही ठहराने के लिए कोई विश्वसनीय साक्ष्य पेश किया है।
कंपनी ने बयान में कहा है, रिलायंस समूह में हमारे पास 1,00,000 कर्मचारी और 80 लाख शेयरधारक हैं, जो हमारे महान देश भारत के लिए पूर्ण रूपेण समर्पित हैं और हमने राहुल गांधी की टिप्पणियों को नजरंदाज करते हुए धैर्य व संयम दिखाया है। हम उनके हालिया बयान को भी उनके चुनावी अभियानों के दौरान दिए गए अन्य अनेक झूठे बयानों की तरह खारिज करते हैं, जिसके लिए उनको देश के सर्वोच्च न्यायालय में अदालत की अवमानना की कार्यवाही का सामना करना पड़ रहा है।
समूह ने कहा, हम श्रीमान राहुल गांधी को याद दिलाना चाहते हैं कि कांग्रेस की अगुवाई में संप्रग (संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन) की सरकार के 10 सालों के कार्यकाल के दौरान 2004-2014 के बीच अनिल अंबानी की अगुवाई वाले रिलायंस समूह को देश के प्रमुख इन्फ्रास्ट्रक्चर क्षेत्र में 1,00,000 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाएं प्रदान की गई थीं, जिनमें बिजली, दूरसंचार, सड़क, मेट्रो की परियोजनाएं शामिल हैं। ये परियोजनाएं किसी और ने नहीं, बल्कि राहुल गांधी की ही पार्टी कांग्रेस की अगुवाई वाली सरकार ने प्रदान की थी।
समूह ने कहा है, रिलायंस समूह श्रीमान राहुल गांधी से निवेदन करता है कि वह स्पष्ट करें कि क्या 10 साल की उनकी सरकार कथित घोर पूंजीवादी और बेईमान कारोबारी को मदद कर रही थी।