नई दिल्ली : गुजरात के उप मुख्यमंत्री नितिन पटेल की अगुवाई वाली मंत्रियों के समूह (जीओएम) किफायती श्रेणी के घरों पर 3 फीसदी कर लगाने की सिफारिश की है, जो पहले 8 फीसदी थी। समिति ने अपनी रिपोर्ट मंगलवार को जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) परिषद को सौंप दी, जिस पर बुधवार को परिषद फैसला करेगी।
परिषद अपनी बुधवार की बैठक में सीमेंट पर कर को 28 फीसदी से कम कर 18 फीसदी करने पर निर्णय कर सकती है, ताकि रियल्टी सेक्टर को बढ़ावा मिले।
सूत्रों ने बताया कि परिषद की बैठक के एजेंडे में जीओएम रिपोर्ट पर चर्चा के साथ ही सीमेंट पर जीएसटी दरों में प्रस्तावित कटौती भी शामिल है। सरकार लोकसभा चुनावों से पहले आवास क्षेत्र पर ध्यान दे रही है।
एक और मंत्रिस्तरीय समिति ने लॉटरी पर कर की दरों की समीक्षा करते हुए एक तरह की करों की सिफारिश की है, चाहे वह 18 या 28 फीसदी होष बैठक में इस पर अंतिम निर्णय लिया जाएगा।
वर्तमान में, एक राज्य में लॉटरी में 12 फीसदी जीएसटी लगता है जबकि राज्य द्वारा अधिकृत लॉटरी पर 28 फीसदी कर लगता है।
बुधवार की बैठक में किफायती आवास की परिभाषा बदलने पर चर्चा होगी, ताकि ज्यादा से ज्यादा गरीब लोगों को 2 फीसदी कर की दरों के तहत लाया जा सके।
वर्तमान में, किफायती घरों को 50 वर्ग मीटर तक के कारपेट एरिया में परिभाषित किया गया है, इसे 80 वर्ग मीटर तक बढ़ाए जाने की संभावना है। डेवलपर्स और संभावित घर खरीदारों को इससे फायदा होगा।